हर इंसान का एक स्थायी भाव होता है। उम्र बढ़ने के साथ व्यक्तित्व में आए परिवर्तनों के बावजूद वह भाव बना रहता है। श्रेष्ठ स्थायी भाव जिज्ञासा है। जिज्ञासु आजन्म छात्र रहते हैं और आगे भी बने रहेंगे। अपनी जिज्ञासाओं की वजह से वे हमेशा खुद को नए सिरे से खोजा करते हैं और सफल होते रहते हैं । जिंदगी की मामूली चीजों के बारे में भी वे इतनी संजीदगी से सोचते , खोजते , जांचते हैं और बता सकते हैं कि आप चकित रह जाएंगें । ’
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