मेरी माँ और अन्य लोग बताते हैं की मैं बचपन से ही अजीब तरह से जिद्दी था.
शुद्ध व्यापारी परिवारिक पृष्ठभूमि थी , कहीं कुछ भी दूर दूर तक किसि दूसरे क्षैत्र में जाने की सलाह , तक देने वाला कोई नहीं था संकेत या मार्गदर्शन का नितान्त अभाव था.
पर बताया ज्ता है , मैं बचपन में यूँ ही मजाक में अतवा गुस्से में कह दिया करता था - " मैं तुमसब को फाँसी दे दूँगा '.
शुद्ध व्यापारी परिवारिक पृष्ठभूमि थी , कहीं कुछ भी दूर दूर तक किसि दूसरे क्षैत्र में जाने की सलाह , तक देने वाला कोई नहीं था संकेत या मार्गदर्शन का नितान्त अभाव था.
पर बताया ज्ता है , मैं बचपन में यूँ ही मजाक में अतवा गुस्से में कह दिया करता था - " मैं तुमसब को फाँसी दे दूँगा '.
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