क्या जिला न्यायालय में हारा हुआ मुकदमा उच्च न्यायालय में जीता जा सकता है? तब जब साक्ष्यों और गवाहों को जिला न्यायालय ने सिरे से नकार दिया हो।
आपराधिक मामलों में उच्च न्यायालय में निम्न न्यायालय के दोष सिद्धि के 67% कमो बेस मामलों में लाभ मिलता ही है। सिविल मामलों में भी 40 प्रतिशत फर्स्ट अपील में और 20 प्रतिशत सेकंड अपील में राहत मिलती है।
ये प्रतिशत में आंकड़े एक आकलन भर ही है, सत्यापित नहीं है, किसी अध्ययन पर नहीं हैं। अनुभव आधारित ब्यक्तिगत स्वतः स्फूर्त आकलन है, वैज्ञानिक नही, अनुभव आधारित है।
उच्च न्यायालय में अपील अवश्य की जानी चाहिए।
जो जहाँ थक गया वहीं हार गया।
न्यायालयों में निर्णय कुश्ती के खेल की तरह है। दांव पेंच, सामने वाले कि ट्रेनिंग, प्रत्युतपन्नमति, क्रिया-प्रतिक्रिया, क्षमता, सजगता, स्टेमिना, ताकत, निर्णायक तिथि को उपलब्ध साधन, सहयोग, संयोग पर निर्भर करता है।
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